*किने का इलाज*
हिस्सा~01
*بِسْــــمِ اللّٰهِ الرَّحْمٰنِ الرَّحِىْمِ*
*الصــلوة والسلام عليك يارسول الله ﷺ*
*ईमान वालो के किने से बचने की दुआ कीजिये*
हर इस्लामी भाई को चाहिये कि ईमानवालो के *किने* से बचने की दुआ करता रहे, दरजे ज़ैल मुख़्तसर क़ुरआनी दुआ को याद कर लेना और वक़्त फ वक़्तन पढ़ना भी बहुत मुफीद है।
पारह 28 सूरए हशर की आयत 10
*وَلَا تَجْعَلْ فِى قُلُوْبِنَا غِلًّا لِّلَّذِ ىْنَ اٰمَنُوْا رَبَّنَآ اِنَّكَ رَءُوْفٌ رَّحِىْمٌ o*
*वला तजअल फि-क़ुलूबिना गिल-ल ल्लीलज़ीन आमनु रब्बना इन्नक राऊफुर रहीम*
_तर्जमह_
और हमारे दिल में ईमान वालो की तरफ से *किना* न रख, ऐ रब्ब हमारे ! बेशक तू ही निहायत मेहरबान रहम वाला है।
*✍🏽बुग्ज़ व किना 40*
___________________________________
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*DEEN-E-NABI ﷺ*
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*ईमान वालो के किने से बचने की दुआ कीजिये*
हर इस्लामी भाई को चाहिये कि ईमानवालो के *किने* से बचने की दुआ करता रहे, दरजे ज़ैल मुख़्तसर क़ुरआनी दुआ को याद कर लेना और वक़्त फ वक़्तन पढ़ना भी बहुत मुफीद है।
पारह 28 सूरए हशर की आयत 10
*وَلَا تَجْعَلْ فِى قُلُوْبِنَا غِلًّا لِّلَّذِ ىْنَ اٰمَنُوْا رَبَّنَآ اِنَّكَ رَءُوْفٌ رَّحِىْمٌ o*
*वला तजअल फि-क़ुलूबिना गिल-ल ल्लीलज़ीन आमनु रब्बना इन्नक राऊफुर रहीम*
_तर्जमह_
और हमारे दिल में ईमान वालो की तरफ से *किना* न रख, ऐ रब्ब हमारे ! बेशक तू ही निहायत मेहरबान रहम वाला है।
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