Pages

Wednesday 8 August 2018

तज़किरतुल अम्बिया* #213


بِسْــــــمِ اللّٰهِ الرَّحْمٰنِ الرَّحِىْمِ

اَلصَّــلٰوةُ وَالسَّلَامُ عَلَيْكَ يَا رَسُوْلَ اللّٰه ﷺ

*युसूफ عليه السلام की औलाद*

     आपकी वफात के वक़्त आपके पसमंदगान में दो बेटे और एक बेटी थी। एक बेटे का नाम अफराइम और दूसरे का नाम मिशा था। अफराइम के बेटे का नाम नून और नून के बेटे का नाम यूशअ था जो मूसा عليه السلام के ज़माने तक ज़िन्दा रहे और दरियाई सफर में उनके साथ रहे। यानी हज़रत ख़िज़्र عليه السلام की मुलाक़ात के लिये जाते हुए मूसा عليه السلام ने अपने साथ यूशअ बिन नून को रखा था। आपकी बेटी का नाम रहमा था जो हज़रत अय्यूब के निकाह में आई थी।

     युसूफ عليه السلام के दुन्या से तशरीफ़ ले जाने के बाद मिस्र की हकूमत बनी अमालक़ा के हाथ मे आ गई। मूसा عليه السلام के ज़माने तक बनी इस्राइल उनके ज़ेरे तसल्लुत रहे हैं। मूसा عليه السلام ने आकर उन्हें नजात दिलाई।

     यह वह गैबी खबर थी जो अल्लाह ने हुज़ूर ﷺ को अता की और इरशाद फ़रमाया: यह कुछ ग़ैब की खबरें हैं जो हम तुम्हारी तरफ वही करते हैं।

     ज़िद और अनाद ने लोगों को समझने से यकसर आरी कर दिया है। अल्लाह ने तो वाज़ेह तौर पर कह दिया है कि यह गैबी खबरें हैं जो हम तुम्हारी तरफ वही करते हैं। लेकिन यहां कुछ लोगों ने कहा जो अल्लाह वही के ज़रिये बता दे वह ग़ैब नहीं रहता। खुदारा इंसाफ करे की बात रब की माने या उसकी मख़लूक़ में से ज़िद्दी जाहिलो की माने? 

*✍तज़किरतुल अम्बिया* 173

●•●┄─┅━━━━━★✰★━━━━━┅─●•●

मिट जाऐ गुनाहो का तसव्वुर ही दुन्या से, 

गर होजाए यक़ीन के.....

*अल्लाह सबसे बड़ा है, अल्लाह देख रहा है...*

●•●┄─┅━━━━━★✰★━━━━━┅─●•●

*​DEEN-E-NABI ﷺ*

📲JOIN WHATSAPP

*(बहनो के लिये अलग ग्रुप)*

📱+91 95580 29197

📧facebook.com/deenenabi

📧Deen-e-nabi.blogspot.in

📧https://www.youtube.com/channel/UCuJJA1HaLBLMHS6Ia7GayiA

No comments:

Post a Comment