Pages

Tuesday 25 September 2018

*दिलचस्प मालूमात* #04


بِسْــــــمِ اللّٰهِ الرَّحْـمٰـنِ الرَّحِـيْـمِ

اَلصَّــلٰـوةُ وَالسَّــلَامُ  عَــلَـيْـكَ يَا رَسُــوْلَ اللّٰه ﷺ

     *सवाल* : तक़दीर का मतलब क्या है?

     *जवाब* : हर भलाई, बुराई उस ने अपने इल्मे अज़ली के मुवाफ़िक़ मुक़द्दर फ़रमा दी है जैसा होने वाला था और जो जैसा करने वाला था अपने इल्म से जाना और वही लिख लिया। तो ये नहीं कि जैसा उसने लिख दिया वैसा हम को करना पड़ता है बल्कि जैसा हम करने वाले थे वैसा उसने लिख दिया।

     ज़ैद के ज़िम्मे बुराई लिखी इस लिए की ज़ैद बुराई करने वाला था अगर ज़ैद भलाई करने वाला होता वो उसके लिये भलाई लिखता तो उस के इल्म या उस के लिख देने ने किसी को मजबूर नहीं कर दिया।


     *सवाल* : कोई बुराई सर्ज़द हो जाने पर इसे तक़दीर की तरफ मनसूब करना कैसा है?

     *जवाब* : बुरा काम करके तक़दीर की तरफ निस्बत करना और मशिय्यते इलाही के हवाले करने बहुत बुरी बात है बल्कि हुक्म ये है कि जो अच्छा काम करे उसे मिन जानिबिल्लाह कहे और जो बुराई सर्ज़द हो उस को शामते नफ़्स तसव्वुर करे।

*✍️बहारे शरीअत*

*✍️दिलचस्प मालूमात* 10

●•●┄─┅━━━━━★✰★━━━━━┅─●•●

मिट जाऐ गुनाहो का तसव्वुर ही दुन्या से, 

गर होजाए यक़ीन के.....

*अल्लाह सबसे बड़ा है, अल्लाह देख रहा है...*

●•●┄─┅━━━━━★✰★━━━━━┅─●•●

*​DEEN-E-NABI ﷺ*

📲JOIN WHATSAPP

*(बहनों के लिये अलग ग्रुप)*

📱+91 95580 29197

📧facebook.com/deenenabi

📧Deen-e-nabi.blogspot.in

📧https://www.youtube.com/channel/UCuJJA1HaLBLMHS6Ia7GayiA

No comments:

Post a Comment