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Friday 15 July 2016

नमाज़ के अहकाम

*नमाज़े जनाज़ा का तरीका*
*بِسْــــــمِ اللّٰهِ الرَّحْمٰنِ الرَّحِىْمِ*
*اَلصَّــلٰوةُ وَالسَّلَامُ عَلَيْكَ يَا رَسُوْلَ اللّٰه ﷺ*

*_नमाज़े जनाज़ा फर्ज़े किफ़ाया है_*
     नमाज़े जनाज़ा फर्ज़े किफ़ाया है यानी कोई एक भी अदा करले तो सब बरीय्यूज़्ज़िम्मा हो गए वरना जिन जिन को खबर पहुची थी और नहीं आए वो सब गुनाहगार होंगे। इस के लिये जमाअत शर्त नही एक शख्स भी पढ़ ले तो फ़र्ज़ अदा हो गया। इसी फरज़िय्यत का इन्कार कुफ़्र है।
*✍🏽बहारे शरीअत 1/825*

*_नमाज़े जनाज़ा में दो रुक्न और तिन सुन्नत है_*
     दो रुक्न ये है (1) चार बार "अल्लाहु अकबर" कहना (2) क़याम।
*दुर्रेमुखतार 3/124*
     इसमें तिन सुन्नते मुअक्कदा ये है (1) सना (2) दुरुद शरीफ (3) मय्यित के लिये दुआ।
*✍🏽बहारे शरीअत 1/829*
*✍🏽नमाज़ के अहकाम 272*
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