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Sunday 29 January 2017

*सिरते मुस्तफाﷺ*
*_दसवा बाब_* #20
*بِسْــــــمِ اللّٰهِ الرَّحْمٰنِ الرَّحِىْمِ*
*اَلصَّــلٰوةُ وَالسَّلَامُ عَلَيْكَ يَا رَسُوْلَ اللّٰه ﷺ*

*​जंगे खन्दक*​ #05
*_बनू करीज़ा की गद्दारी_*
     क़बिलाए बनू करीज़ा के यहूदी अब तक गैर जानिब दार थे लेकिन बनू नज़ीर के यहूदियो ने उन को भी अपने साथ मिला कर लश्करे कुफ्फार में शामिल कर लेने की कोशिश शुरू कर दी, चुनांचे हुयय बिन अख्तब के मशवरे से बनू करीज़ा के सरदार काब बिन असद के पास गया। पहले तो उस ने अपना दरवाज़ा नही खोल और कहा की मुहम्मद के हलिफ् है और हम ने उन को हमेशा अपने अहद का पाबन्द पाया है इस लिये हम उन से अहद शिकनी करना ख़िलाफे मुरव्वत समझते है मगर बनू नज़ीर के यहूदियो ने इस क़दर शदीद इसरार किया और तरह तरह से वर गलाया की बिल आखिर काब बिन असद मुआह्दा तोड़ने के लिये राज़ी हो गया, बनू करीज़ा ने जब मुआह्दा तोड़ दिया और कुफ्फार से मिल गए तो कुफ़्फ़ारे मक्का और अबू सुफ़यान ख़ुशी से बाग़ बाग़ हो गए।
     हुज़ूरे अक़दसﷺ को जब इस की खबर मिली तो आप ने हज़रते साद बिन मुआज़ और हज़रते साद बिन उबादाرضي الله تعالي عنهم को तहक़ीक़ के लिये बनू करीज़ा के पास भेजा, वहा जा कर मालुम हुवा की वाक़ई बनू करीज़ा ने मुआह्दा तोड़ दिया है। जब इन दोनों मुअज़्ज़ज़् सहाबियों ने बनू करीज़ा को उन का मुआह्दा याद दिलाया तो उन बाद ज़ात यहूदियो ने इंतिहाई बे हयाई के साथ यहाँ तक कह दिया की हम कुछ नही जानते की मुहम्मद कौन है ? और मुआह्दा किस को कहते है ? हमारा कोई मुआह्दा हुवा नही था, ये सुन कर दोनों हज़रात वापस आ गए और सूरत हाल से हुज़ूरﷺ को मुत्तलअ किया तो आप ने बुलन्द आवाज़ से "अल्लाहु अकबर" कहा और फ़रमाया की मुसलमानो ! तुम इस से न घबराओ न इस का गम करो इस में तुम्हारे लिये बिशारत है।
     कुफ्फार का लश्कर जब आगे बढ़ा तो सामने खन्दक देख कर  ठहर गया और शहरे मदीना का मुहासरा कर लिया और तक़रीबन एक महीने तक कुफ्फार शहरे मदीना के गिर्द घेरा डाले हुए पड़े रहे और ये मुहासरा इस सख्ती के साथ क़ाइम रहा की हुज़ूर और सहाबा पर कई कई फाके गुज़र गए।
     कुफ्फार ने एक तरफ तो खन्दक का मुहासरा कर रखा था और दूसरी तरफ इस लिये हमला करना चाहते थे की मुसलमानो की औरते और बच्चे किल्ले में थे, मगर हुज़ूरﷺ ने जहा खन्दक के मुख़्तलिफ़ हिस्सों पर सहाबा को मुक़र्रर फरमा दिया था की वो कुफ्फार के हमलो का मुक़ाबला करते रहे इसी तरह औरतो और बच्चों की हिफाज़त के लिये भी कुछ सहाबा को मूतअय्यन कर दिया था।
*✍🏽सिरते मुस्तफा, 331*
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मिट जाए गुनाहो का तसव्वुर ही दुन्या से,
गर होजाये यक़ीन के.....
*अल्लाह सबसे बड़ा है, अल्लाह देख रहा है...*
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