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Monday 22 August 2016

क़ब्र में आनेवाला दोस्त

*क़ब्र को जहन्नम का गढा बनाने वाले आमाल* #01
*بِسْــــــمِ اللّٰهِ الرَّحْمٰنِ الرَّحِىْمِ*
*اَلصَّــلٰوةُ وَالسَّلَامُ عَلَيْكَ يَا رَسُوْلَ اللّٰه ﷺ*

     यु तो हर गुनाह अज़ाबे क़ब्र का सबब बन सकता है मगर चन्द ऐसी रिवायत व हिकयत मुलाहजा कीजिये जिनमे अज़ाबे क़ब्र में मुब्तला करने वाले गुनाहो का खुसुसिय्यत के साथ ज़िक्र है।

*_चुगल खोरी_*
     हुज़ूरﷺ दो क़ब्रो के पास से गुज़रे तो ग़ैब की खबर देते हुए फ़रमाया : ये दोनों क़ब्र पे अज़ाब दिए जा रहे है और किसी बड़ी चीज़ (जिससे बचना दुस्वार हो) में अज़ाब नही दिये जा रहे बल्कि एक तो पेशाब के छिटो से नही बचत था और दूसरा चुगल खोरी किया करता था फिर आपﷺ ने खजूर की ताज़ा टहनी मंगवाई और उसे अंधो आध चीरा और हर एक की क़ब्र पर एक एक हिस्सा गाड़ दिया और फ़रमाया : जब तक ये खुश्क न हो तब तक इन दोनों के अज़ाब में तख़फ़ीफ़ होगी।
*✍🏽सुनन नसाई, 13*
*✍🏽सहीह बुखारी, 1/95*

*_क़ब्र में आग भड़क रही थी_*
     हज़रते अम्र बिन दिनार अलैरहमा कहते है के मदीना में एक शख्स रहता था जिसकी बहन मदीना के नवाह में रहती थी। वो बीमार हुई तो ये शख्स उस की तिमार दारी में लगा रहा मगर वो उसी मरज़ में इन्तिकाल कर गई। उस शख्स ने अपनी बहन की तजहिज़ व तकफिन का इन्तिज़ाम किया, जब दफ़्न कर के वापस आया तो उसे याद आया के वो रकम की थैली क़ब्र में भूल आया है। उसने अपने एक दोस्त से मदद तलब की दोनों ने जा कर उसकी क़ब्र खोद कर थैली निकाल ली।
     उसने दोस्त से कहा : ज़रा हटना में देखु तो सही मेरी बहन किस हाल में है ? उसने लहद में झांक कर देखा तो वहा आग भड़क रही थी, वो चुपचाप वापस चला आया और माँ से पूछा : क्या मेरी बहन में कोई खराब आदत थी ? माँ ने कहा तेरी बहन की आदत थी के वो हमसायो के दरवाज़ों से कान लगा कर उन की बाते सुनती थी और चुंगुल खोरी करती थी।
*✍🏽मकशफतुल कुलूब, 71*

     लोगो में फसाद करवाने के लिये उनकी बाते एक दूसरे तक पहचना चुगली है।
*✍🏽सहीह मुस्लिम, 1/311*
चुगल खोर मुहब्बतों का चोर है, आज हमारे मुआशरे में महब्बतो की फ़ज़ा आलूदा होने का एक बड़ा सबब चुगल खोरी भी है, लोगो के दरमियान चुगलिया खा कर फसाद बरपा करके अपने कलेजे में ठंडक महसूस करने वाले को कल जहन्नम की भड़कती हुई आग में जलना पड़ेगा, अगर कभी ज़िन्दगी में ये गुनाह हुवा हो तो तौबा करके ये निय्यत कर लीजिये के हम चुगली खाएंगे न सुनेंगे, انشاء الله.
*✍🏽क़ब्र में आनेवाला दोस्त, 36*
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