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Monday 24 December 2018

क़ज़ा नमाज़ का तरीका* #13

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بِسْــــمِ اللّٰهِ الرَّحْمٰنِ الرَّحِىْمِ

الصــلوة والسلام‎ عليك‎ ‎يارسول‎ الله ﷺ

*_फ़ज्र व असर के बाद नवाफ़िल नही पढ़ सकते_*

     नमाज़े फ़ज्र और असर के बाद वो तमाम नवाफ़िल अदा करना मकरुहे तहरिमि है, अगर्चे फ़ज्र व असर की सुन्नते ही क्यू न हो।

*✍🏽दुर्रेमुखतार 2/44*


     क़ज़ा के लिये कोई वक़्त मुअय्यन नही उम्र में जब भी पढ़ेगा बरियूज़्ज़िम्मा हो जाएगा। मगर तुलुअ व गुरुब और ज़वाल के वक़्त नमाज़ नहीं पढ़ सकता कि इन वक़्तों में नमाज़ जाइज़ नही।

*✍🏽बहारे शरीअत 1/702*

*✍🏽आलमगिरी 1/52*

*✍🏽नमाज़ के अहकाम 254*

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मिट जाऐ गुनाहो का तसव्वुर ही दुन्या से, 

गर होजाए यक़ीन के.....

*अल्लाह सबसे बड़ा है, अल्लाह देख रहा है...*

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*​DEEN-E-NABI ﷺ*

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