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Saturday 2 February 2019

नमाज़ के लिये रसूलल्लाह ﷺ की वसीयत*

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بِسْــــــمِ اللّٰهِ الرَّحْمٰنِ الرَّحِىْمِ

اَلصَّــلٰوةُ وَالسَّلَامُ عَلَيْكَ يَا رَسُوْلَ اللّٰه ﷺ

     हज़रत उबादा बिन सामित رضي الله عنه से मरवी है कि मुझे रसूलल्लाह ﷺ ने वसीयत फ़रमाई :

     (1) किसी को अल्लाह के साथ शरीक न ठहराओ चाहे तुम्हें टुकड़े टुकड़े कर दिया जाए या जला दिया जाए फांसी पर लटका दिया जाए।

     (2) जान बूझकर नमाज़ न छोडो क्योंकि जिसने जान बूझकर नमाज़ छोड़ दी वो दीन से निकल गया।

     (3) गुनाह और ना फ़रमानी न करो ये अल्लाह के क़हर की वजह है।

     (4) शराब न पियो क्योंकि ये गुनाहों का ढेर है।

*✍🏼मकाशफतुल कुलूब* 378

*✍🏼नमाज़ की अहमियत* 28

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मिट जाऐ गुनाहो का तसव्वुर ही दुन्या से, 

गर होजाए यक़ीन के.....

*अल्लाह सबसे बड़ा है, अल्लाह देख रहा है...*

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*​DEEN-E-NABI ﷺ*

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